अदालत ने दिल्ली पुलिस को सीएम खट्टर के खिलाफ 9 Dec को रिपोर्ट पेश करने का दिया आदेश
सबसे तेज न्यूज डेस्क ------------------------ किसानों के विरुद्ध भड़काऊ भाषण देने के मामले में हरियाणा के मुख्यमंत्री मनोहर लाल खट्टर के खिलाफ FIR दर्ज करने की मांग करती याचिका पर दिल्ली की एक अदालत ने दिल्ली पुलिस से स्टेटस रिपोर्ट मांगी है। कोर्ट ने 6 दिसंबर तक उसके समक्ष रिपोर्ट पेश करने के आदेश दिल्ली पुलिस को दिए। दरअसल, पिछले दिनों वायरल हुए एक वीडियो में हरियाणा के मुख्यमंत्री मनोहर लाल खट्टर एक बैठक में बीजेपी कार्यकर्ताओं से आंदोलनरत किसानों के खिलाफ लठ्ठ उठा लेने और जैसे को तैसा की नीति अपनाने सरीखी बातें कहते नजर आए थे। इसके खिलाफ अदालत में याचिका दायर हुई है। राउज एवेन्यू कोर्ट के एसीएमएम सचिन गुप्ता ने गुरुवार को मामले पर सुनवाई करते हुए दिल्ली पुलिस की क्राइम ब्रांच को यह आदेश जारी किए। दरअसल, सामाजिक कार्यकर्ता एवं वकील अमित साहनी ने राउज एवेन्यू कोर्ट में इस बाबत अर्जी दायर की थी। इसमें उन्होंने कहा, हरियाणा के मुख्यमंत्री का 03-10-2021 को चंडीगढ़ में अपने आवास पर भाजपा किसान मोर्चा के कार्यकर्ताओं के साथ बैठक का एक विवादास्पद वीडियो सोशल मीडिया पर वायरल हुआ। इसमें वह कहते नजर आए, कुछ नए किसानों के जो संगठन और उभर रहे हैं, उनको भी प्रोत्साहन देना पड़ेगा, उनको आगे चलना पड़ेगा। और अगर हर जिले में खासकर उत्तर और पश्चिम हरियाणा के, दक्षिण हरियाणा में ये समस्या ज्यादा नहीं है, लेकिन उत्तर और पश्चिम हरियाणा के हर जिले में अपने किसानों के 500, 700, 1000 लोग आप लोग अपने खड़े करो, उनको वॉलंटियर बनाओ। वह आगे कहते हैं, और फिर जगह-जगह सठे साठयम समाचरेत, अंग्रेजी में बता दिया ना हिंदी में बताओ, यानि जैसे को तैसा। ठा लो डंडे, ठीक है। उन्होंने अर्जी में आगे कहा है कि वीडियो में मुख्यमंत्री खट्टर आगे कहते दिखे कि नहीं वो देख लेंगे और दूसरी बात ये है कि जब ठा लोगे डंडे तो जमानत की परवाह मत करो। छह महीने, दो महीने जेल में रह आओगे ना, तो इतनी पढाई इस मीटिंग में नहीं होगी, दो-चार महीने वहां रह आओगे तो अपने आप बड़े लीडर बन जाओगे। नहीं, नहीं दो चार महीने में अपने आप बड़े नेता बन जाओगे, चिंता मत करो। ये इतिहास में नाम लिखा जाता है। इसमें एक ही बात ध्यान रखनी है जोश के साथ अनुशासन को बनाकर रखना है। जो सूचना मिल गई, यहां तक करना है, इसके आगे नहीं करना, तो नहीं करना। उन्होंने अर्जी में कहा कि उपरोक्त वीडियो से यह स्पष्ट होता है कि हरियाणा राज्य के मुखिया अपनी पार्टी के सदस्यों को किसानों के खिलाफ खड़े होने के लिए उकसा रहे हैं और ऐसा बयान देकर उन्होंने IPC की धारा 153/153A/505 के तहत अपराध किया है। साथ ही यह कि एमएल खट्टर ने कार्यकर्ताओं को बताए गए निर्देशों का कड़ाई से पालन करने पर जोर देते हुए, आपराधिक बल का इस्तेमाल करने के लिए उकसाया। इससे पहले ही हरियाणा के एक आईएएस अधिकारी आयुष सिन्हा ने किसानों के सिर फोड़ने का एक विवादित बयान दिया था।
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